लखनऊ | प्रदेश में इस बार होने जा रहे त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव में लगभग 13 लाख 40 हजार कार्मिक तैनात किए जाएंगे। चुनाव ड्यूटी में लगाए जाने वाले कार्मिकों को टीए-डीए के नाम से पारिश्रमिक दिया जाता है। ट्रेनिंग और मतदान / मतगणना ड्यूटी दोनों में ही पीठासीन अधिकारी को 350 रुपये प्रतिदिन, मतदान अधिकारी को 250 रुपये प्रतिदिन और चतुर्थ श्रेणी कार्मिक को 150 रुपये प्रतिदिन की दर से यह भुगतान किया जाता है। पोलिंग पार्टी रवाना होने से पहले ही यह राशि संबंधित कार्मिक के बैंक खाते में भेज दी जाएगी। आयुक्त वेद प्रकाश वर्मा ने बताया कि चूंकि इस बार एक जिले में एक ही बार में पूरा चुनाव करवाया जाएगा, इसलिए जिले में अगर समुचित संख्या में कार्मिक नहीं मिले तो उस मंडल के अन्य जिलों से कार्मिक मंगवाए जाएंगे। ऐसे कार्मिक अपने जिले में मतदान होने पर वहां भी लगाए जाए सकते हैं। इस हिसाब से इन कार्मिकों को इस बार डबल चुनाव ड्यूटी भी करनी पड़ सकती है। एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि चुनाव ड्यूटी के दौरान किसी आतकंवादी घटना, बूथ कैप्चरिंग-दंगा फसाद होने पर कार्मिक की मौत होने या उसकी अपंगता पर सरकार की ओर से मुआवजा भी दिया जाता है। वर्ष 2017 में हुए निकाय चुनाव में ट्रेनिंग, मतदान या मतगणना के दौरान किसी असामयिक दुर्घटना में मृत्यु की दशा में दस लाख रुपये, ड्यूटी के दौरान असामयिक दुर्घटना जैसे आतकंवादी हिंसा / असामाजिक तत्वों द्वारा हत्या, बारूदी सुरंग-बम विस्फोट, हथियारों से आक्रमण की दशा में कार्मिक की मौत होने पर 20 लाख रुपये का मुआवाजा दिया जाता है।