आजमगढ़: आयुक्त ने दो अधिकारियों का वेतने रोकने का दिया निर्देश

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प्रतिकूल प्रविष्टि के साथ देना होगा स्पष्टीकरण, दो अन्य अधिकारियों से भी स्पष्टीकरण तलब
आज़मगढ़। मण्डलायुक्त मनीष चौहान ने मण्डल के जनपदों में निर्माणाधीन परियोजनाओं की समीक्षा बैठक से अनुपस्थित रहने के कारण जहॉं दो अधिकारियों का एक दिन का वेतन बाधित करने, प्रतिकूल प्रविष्टि देने तथा स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है, वहीं दो अन्य अधिकारियों को भी स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने हेतु निर्देशित किया है। मण्डलायुक्त श्री चौहान की अध्यक्षता में बुधवार को देर सायं उनके कार्यालय सभागार में आयोजित मण्डल के जनपदों में 50 लाख एवं 50 करोड़ से अधिक लागत की निर्माणाधीन परियोजनाओं तथा पूर्वांचल विकास निधि के अन्तर्गत कराये जा रहे निर्माण कार्यों की समीक्षा बैठक में अधिशासी अभियन्ता, उप्र आवास विकास परिषद निर्माण खण्ड-2 वाराणसी तथा परियोजना प्रबन्धक, सी एण्ड डीएस, जल निगम के अनुपस्थित रहने पर सख्त नाराजगी व्यक्त करते हुए दोनों अधिकारियों का एक दिन का वेतन बाधित करने, प्रतिकूल प्रविष्टि देने के साथ ही स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने हेतु निर्देशित किया। इसी प्रकार अधीक्षण अभियन्ता, जल निगम द्वारा बिना अवगत कराये अन्य बैठक में चले जाने तथा अधिशासी अभियन्ता उप्र राज्य निर्माण सहकारी संघ लि. (पैकफेड) मऊ द्वारा काफी विलम्ब से उपस्थित होने के कारण मण्डलायुक्त ने इन दोनों अधिकारियों से स्पष्टीकरण तलब किया है। इसके साथ ही उन्होंने मार्टीनगंज तहसील के आवासीय निर्माण कार्यों के सम्बन्ध में कार्यदायी संस्था पैकफेड द्वारा सही जानकारी नहीं दिये जाने पर असन्तोष व्यक्त करते हुए अपर आयुक्त (न्यायिक) एवं अधीक्षण अभियन्ता, लोक निर्माण विभाग को निर्देशित किया कि मौके पर जाकर उक्त तहसील के आवासीय निर्माण को देखें तथा एक सप्ताह में स्पष्ट संयुक्त आख्या उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। इसके साथ ही उन्होंने पैकफेड द्वारा जनपद मऊ एवं बलिया में कराये गये कार्यों की भी जॉंच कर आख्या प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि जिन कार्यदायी संस्थाओं के मण्डलीय अधिकारी तैनात नहीं हैं उस कार्यदायी संस्था के जनपद आज़मगढ़ के जनपदीय अधिकारी तीनों जनपदों के संकलित विवरण के साथ बैठकों में प्रतिभाग करें।
मण्डालयुक्त मनीष चौहान ने लोक निर्माण विभाग के कार्यों की समीक्षा के दौरान मण्डल में गड्ढामुक्त की गयी सड़कों एवं उसके सत्यापन की स्थिति आदि का जनपदवार पूर्ण विवरण उपलब्ध कराने हेतु मुख्य अभियन्ता, लोक निर्माण विभाग को निर्देशित किया। सड़क निर्माण के सम्बन्ध में अवगत कराया गया कि तीनों जनपदों में प्रस्तावित सभी निर्माण कार्य प्रगति पर हैं तथा समय से पूर्ण कर लिये जायेंगे। मण्डलायुक्त ने इस सम्बन्ध में सभी अधिशासी अभियन्ताओं को निर्देशित किया कि सभी कार्य समय से पूर्ण हों तथा गुणवत्तायुक्त हों। उन्होंने उप्र राजकीय निर्माण निगम द्वारा आज़मगढ़ एवं मऊ में कराये जा रहे कतिपय कार्यों में प्रगति अपेक्षानुरूप नहीं मिलने पर असन्तोष व्यक्त करते हुए आगामी बैठक के अनिवार्य रूप से सुधार लाने हेतु निर्देशित किया। उन्होंने 50 करोड़ से अधिक लागत के निर्माण कार्यों की समीक्षा में पाया कि एनएच-29 गोरखपुर-वाराणसी का जो भाग मण्डल में अवस्थित है उसपर कार्य की प्रगति धीमी है। उन्होंने एनएचएआई के सम्बन्धित परियोजना निदेशक को कार्यों में तेजी लाकर समय से पूर्ण करने की हिदायत दी। इसी प्रकार एनएच-233 वाराणसी-लुम्बिनी के पैकेज 2 में रानी की सराय बाईपास का कार्य भी अभी तक पूर्ण नहीं मिलने पर उन्होंने परियोजना निदेशक को निर्देशित किया कि कार्यों में तेजी लाकर कार्य आगामी माह में पूर्ण करना सुनिश्चित किया जाय। मण्डलायुक्त श्री चौहान ने पूर्वांचल विकास निधि के तहत निर्माणाधीन कार्यों की समीक्षा के दौरान अधीक्षण अभियन्ता, ग्रामीण अभियन्त्रण तथा अधीक्षण अभियन्ता, लोनिवि को निर्देशित किया कि सभी कार्यों की क्वालिटी अच्छी होनी चाहिए। जिलांश एवं राज्यांश से कराये जा रहे सभी कार्यों की जॉंच कराई जायेगी, कार्य गुणवत्ता के सापेक्ष नहीं मिलने पर कठोर कार्यवाही की जायेगी। इस अवसर पर अपर आयुक्त (न्यायिक) हंसराज, संयुक्त विकास आयुक्त ओपी आर्य, मण्डलीय अर्थ एवं संख्याधिकारी डा. नीरज श्रीवास्तव सहित अन्य कार्यदायी संस्थाओं के पदाधिकारी तथा सम्बन्धित प्रशासकीय विभागों के मण्डलीय अधिकारी उपस्थित थे।

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