मीडिया के सामने आरोपी ने ‘फर्जी पुलिस मुठभेड़’ का खोला राज
अलीगढ़। अलीगढ़ के लोधा क्षेत्र में माल भाड़ा गलियारे के रेलवे ट्रैक के पास पशु अवशेष मिलने के मामले में पुलिस ने हाथरस के एक निवासी एक आरोपी को 5 जून रात मुठभेड़ में गिरफ्तार करने का दावा किया है। उसके पैर में गोली लगी है। इस दौरान उसके साथी भागने में सफल रहे। पकड़े गए आरोपी पर संरक्षित पशु कटान आदि के कई मुकदमे दर्ज हैं। 5 जून तड़के लोधा में बहलोलपुर-लेखराजपुर के पास संरक्षित पशुओं के अवशेष मिले थे। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर अवशेषों को जांच के लिए भेजा प्रयोगशाला में भेजा था। मामले में जांच की तो हाथरस के पुरदिलनगर के कुछ आरोपियों के नाम सामने आए। पुलिस ने तलाश शुरू की तो उनकी लोकेशन अलीगढ़ में पाई गई। इसी बीच घेराबंदी के दौरान बुधवार रात रुस्तमपुर अखन के पास चेकिंग के दौरान कुछ अपराधियों से पुलिस की मुठभेड़ हो गई। पैर में गोली लगने से घायल आरोपी को 5 जून रात करीब डेढ़ बजे जिला अस्पताल लाया गया। जहां उसने अपना नाम चाहत और खुद को पुरदिलनगर सिकंदराराऊ हाथरस का रहने वाला बताया। पुलिस का दावा है कि उसने संरक्षित पशु कटान की घटना में शामिल होना स्वीकार किया है। उसके पास से तमंचा, कारतूस, खोखा के अलावा पशु काटने के औजार छुरी, बांका, नुकीली रॉड आदि बरामद हुए। प्राथमिक उपचार के बाद उसे जेल भेज दिया गया। पुलिस रिकार्ड के अनुसार उस पर 11 मुकदमे दर्ज हैं, जिनमें संरक्षित पशु कटान के तीन मुकदमे सिकंराराऊ में हैं, जबकि चोरी, गैंगस्टर एक्ट आदि के अन्य मुकदमे सिकंदराराऊ व कोतवाली ऊपरकोट में हैं। इस गिरफ्तारी टीम में इंस्पेक्टर लोधा विपिन कुमार, स्वाट व सर्विलांस टीम शामिल रही। आरोपी को मुठभेड़ के बाद जब जिला अस्पताल लाया गया तो मीडिया से बातचीत में उसने मुठभेड़ पर सवाल उठाए। कहा कि वह 5 जून सुबह छह बजे ही अपने मुकदमे की तारीख के सिलसिले में अलीगढ़ आया था। भुजपुरा में रिश्तेदार के घर रुका हुआ था। तभी सात बजे पुलिस उसे उठा ले गई। बाद में उसे किसी स्थान पर रखा और रात को आंखों पर पट्टी बांधकर एकांत में ले जाकर उसके पैर में गोली मार दी। इसका वीडियो भी प्रसारित हो गया है।